गजेंद्र सिंह की कलम से। ... नई दिल्ली/भोपाल। दिल्ली में दो दिन से जारी कांग्रेस की स्क्रीनिंग कमेटी की बैठक में उम्मीदवारों के चयन को लेकर माथापच्ची जारी है। इस बीच उम्मीदवारों को लेकर कांग्रेस में एक बार फिर तकरार की स्थिति बन रही है। खबर है कि कमलनाथ, दिग्विजय सिंह और मिनाक्षी नटराज के हाथ मिलाने से सिंधिया गुट को खतरा हो सकता है। मालवा की 43 सीटों पर सिंधिया अपने दावेदारों को टिकट दिलवाना चाहते हैं। लेकिन कमलनाथ और दूसरे दिग्गज कुछ नामों पर अपनी सहमति जाहिर नहीं कर रहे हैं। जिससे टकराव पैदा हो सकता है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली में कांग्रेस अपनी पहली लिस्ट तैयार कर चुकी है दूसरी के लिए भी नामों पर विचार किया जा सकता है। कुल 170 दावेदारों के चयन को लेकर मंथन किया जा रहा है। खबर है कि राहुल गांधी उन नामों को ज्यादा तर्जी देंगे जो सिंधिया आगे करेंगे। ऐसे में कमलनाथ काफी चिंतित हैं। वह मालवा के कुछ नामों में बदलाव चाहते हैं। मालवा की 48 सीटों पर ज्योतिरादित्य सिंधिया को रोकने के लिए तीनों दिग्गज लगे हैं। मालवा के साथ सिंधिया घराने का पुरानी इतिहास जुड़ा है। यहां पहले सिंधिया घराने की रियासत रही है। इस इलाके में सिंधिया का वर्चस्व माना जाता है।
मालवा के इस हिस्से में कांग्रेस खुद को ताकतवर मानती है जिसके चलते हो सकता है कांग्रेस नेता आपस में पैक्ट करके अपने ज्यादा विधायक लाना चाहते हों, ताकि जब कांग्रेस की सरकार बने तो सिंधिया को सीएम बनने से रोका जा सके, लेकिन मालवा के पिपलियामंडी ओर ग्वालियर चम्बल इलाके में राहुल गांधी की सभाओं में जो जनसैलाब उमड़ा है, उससे सिंधिया के निश्चित तौर पर नम्बर बढ़े हैं और इनके इस बढ़ते कद के चलते भी कांग्रेस में घमासान संभव है।
सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार दिल्ली में कांग्रेस अपनी पहली लिस्ट तैयार कर चुकी है दूसरी के लिए भी नामों पर विचार किया जा सकता है। कुल 170 दावेदारों के चयन को लेकर मंथन किया जा रहा है। खबर है कि राहुल गांधी उन नामों को ज्यादा तर्जी देंगे जो सिंधिया आगे करेंगे। ऐसे में कमलनाथ काफी चिंतित हैं। वह मालवा के कुछ नामों में बदलाव चाहते हैं। मालवा की 48 सीटों पर ज्योतिरादित्य सिंधिया को रोकने के लिए तीनों दिग्गज लगे हैं। मालवा के साथ सिंधिया घराने का पुरानी इतिहास जुड़ा है। यहां पहले सिंधिया घराने की रियासत रही है। इस इलाके में सिंधिया का वर्चस्व माना जाता है।
मालवा के इस हिस्से में कांग्रेस खुद को ताकतवर मानती है जिसके चलते हो सकता है कांग्रेस नेता आपस में पैक्ट करके अपने ज्यादा विधायक लाना चाहते हों, ताकि जब कांग्रेस की सरकार बने तो सिंधिया को सीएम बनने से रोका जा सके, लेकिन मालवा के पिपलियामंडी ओर ग्वालियर चम्बल इलाके में राहुल गांधी की सभाओं में जो जनसैलाब उमड़ा है, उससे सिंधिया के निश्चित तौर पर नम्बर बढ़े हैं और इनके इस बढ़ते कद के चलते भी कांग्रेस में घमासान संभव है।
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